कि आखरी है ये तुझसे मुलाक़ात
तो मै रोक लेता तुझे...
जाने न देता तुझे ,
जो अभी हमारी बातें कुछ अधूरी थी,
वो प्यारी सी मुलाक़ातें अभी अधूरी थी ,
वो छोटी सी हमारी कहानी अभी..
.. और बची थी..
.. और बची थी..
टोक देता , डाँठ देता,
बाँहों मे भर लेता तुझे,
पर मै... रोक लेता तुझे
अब कहाँ दिखेगी ये तेरी प्यारी हंसी
और कहाँ मिलेगी वो ख़ुशी
अब जो तू चली गयी है
बस तेरी यादें रह गयी है
क्यूंकि पीछे हरदम तेरी परछाई जो खड़ी है
आँखों मे अब नींद भी नहीं है
क्यूंकि अब तू मेरे पास नहीं है...
अब तू मेरे पास नहीं है...
और कहाँ मिलेगी वो ख़ुशी
अब जो तू चली गयी है
बस तेरी यादें रह गयी है
क्यूंकि पीछे हरदम तेरी परछाई जो खड़ी है
आँखों मे अब नींद भी नहीं है
क्यूंकि अब तू मेरे पास नहीं है...
अब तू मेरे पास नहीं है...
Jabardast bhai...
ReplyDeleteThanks @alisuleman
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